धारिता
धारिता :-
किसी चालक द्वारा आवेश को संचित करने की क्षमता धारिता कहलाती है।
किसी चालक का विभव उसे दिए गए आवेश के समानुपाती होता है अर्थात
V ∝ Q
अथवा
Q ∝ V
⇒ Q = CV
एक C एक समानुपातिक नियतांक है जिसे चालक की धारिता कहते हैं।
C = Q/V
मात्रक :-
कूलाम/वोल्ट = फैरड(Farad)
विमा :-
C = Q/V = Q/(W/Q) = Q2/W
⇒[C] = [A2T2] / [M1L2T-2] = [M–1 L–2 T4 A2]
नोट :- किसी चालक की धारिता उसे दिए गए आवेश तथा विभव दोनों पर ही निर्भर नहीं करती । यह केवल चालक के ज्यामितीय आकार (आकार, आकृति,पृथक्कन)तथा माध्यम पर निर्भर करती है।