अवर्णकता
अवर्णकता :- एक अवर्णकता लेंस(achromatic lens) या अवर्णक(achromat) एक लेंस या लेंसों का एक संयोजन होता है, जिसे वर्ण विपथन(chromatic aberration) के प्रभाव को सीमित करने के लिए बनाया जाता है। अवर्णकता लेंस दो तरंगदैर्ध्य (आमतौर पर लाल और नीला) को एक ही तल पर फोकसित करता हैं।
स्थिती I :- जब लेंस एक दूसरे के संपर्क में होते हैं
(अवर्णकता)
मान लीजिए कि फोकल लंबाई f1 और f2 के दो लेंस एक दूसरे के संपर्क में रखे गए हैं। संयोजन की तुल्य फोकल लंबाई feq इस प्रकार दी गई है : –
उपरोक्त समीकरण का अपवर्तनांक n के सापेक्ष अवकलन करने पर हम पाते हैं,
वर्ण विपथन शून्य होने के लिए, dfeq = 0
उपरोक्त समीकरण को इस प्रकार भी लिखा जा सकता है,
अब, (लेंस की विक्षेपण क्षमता)
ऋणात्मक चिह्न दर्शाता है कि अवर्णकता के लिए लेंसों की प्रकृति विपरीत होगी, अर्थात एक उत्तल लेंस है और दूसरा अवतल लेंस है।
स्थिती II :- जब लेंस एक दूसरे से कुछ दूरी पर रखे हों
(अवर्णकता)
जब लेंसों के बीच दूरी d होती है, तो संयोजन की तुल्य फोकल लंबाई feq इस प्रकार दी जाती है :-
उपरोक्त समीकरण का अपवर्तनांक n के सापेक्ष अवकलन करने पर हम पाते हैं,
वर्ण विपथन शून्य होने के लिए,
अथवा
यदि ω1 = ω2